Amit Kumar Das Success Story: आज हम बात करेंगे बिहार के एक ऐसे युवा के बारे में जिन्होंने अपने कठिन परिश्रम से अपनी सफलता खुद लिखी। किसी ने सही कहा है ” जितना कठिन संघर्ष होगा,जीत उतनी ही शानदार होगी”। बिहार के अररिया जिले के फारबिसगंज में एक किसान के घर में इनका जन्म हुआ।
किसान परिवार में जन्म लिए हो तो आगे चलकर आपको खेती बाड़ी को संभालना आना चाहिए ऐसा अभिप्राय बिहार के गावों में सुनने को मिलता है। बिहार में अक्सर सुनने को मिलता है लड़का ज्यादा पढ़ लिया तो IAS बनेगा और कम पढ़ा तो खेती की जिमेवारी संभालना पड़ेगा। बिहार के किसान फॅमिली में जन्म लेकर बिज़नेस का ख्याल रखना बहुत बड़ी बात होती है क्यूंकि यहाँ किसान लड़का बिज़नेस में जायदा सफल नहीं हो पाता ऐसी अवधारणा बिहार के हर गगावं में मिल जाएगी। यह बात 2000 सदी के पहले की है उस समय बिजनेस का प्रचलन नहीं था।
लेकिन अमित के मन में बिजनेस का ख्याल था। हलाकि अमित बचपन से पढ़ने में बहुत मेधावी छात्र थे। AN College से इन्होंने इंटर किया। इनका सपना एक सफल Engineer बनना था लोगों को टेक्नोलॉजी के माध्यम से जोड़ना था। लेकिन आर्थिक तंगी के कारण इनका Engineer बनने का सपना टूट गया। फिर इन्होंने घर से 250 रुपये लेकर दिल्ली चले आएं और वहां नौकरी के तलाश में भटकने लगें। साथ ही दिल्ली यूनिवर्सिटी का एग्जाम दिया और वह इस एग्जाम में पास हो गए।
फिर इन्होंने BA में दाखिला ले लिया और अपना खर्च निकालने के लिए बच्चे को टुयुशन पढ़ने लगे। इनको Computers में शुरू से इंटेरसेट था। कम्प्यूटर्स कोर्स के लिए जब यह Computer इंस्टिट्यूट में गए तो वहां बैठे रिसेप्शनिस्ट ने इंग्लिश में बात की इन्होंने हिंदी में बात की तो इन्हें कम्प्यूटर्स कोर्स में दाखिला नहीं मिला।
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फिर Amit Kumar Das ने स्पोकन इंगिलश का कोर्स किया और फिर उस इंस्टिट्यूट में गए और इस बार उनका एड्मिशन हो गया और उस एग्जाम में अव्वल रैंक लाएं साथ ही इनको 3 साल के लिए इसी इंस्टिट्यूट में प्रोग्रामर की नौकरी 500 रुपये के महीने पर मिल गयी।
2006 May Amit Kumar Das ने ISOFT कंपनी की नींव रखी। अमित दिन में कॉलेज करते और रात में सॉफ्टवेयर डेवेलोप किया करते।
Amit Kumar Das Success Story: अमित कुमार दास के जीवन में सबसे सुन्दर पल तब आया जब यह एक सॉफ्टवेयर डेवेलोप किया IRSIS नाम से इस सॉफ्टवेयर को डेवेलोप करने के बाद इन्हें ऑस्ट्रेलिया से बुलावा आया और इन्हें ऑस्ट्रलिआ में पुरस्कृत किया गया।
अमित कुमार दास ने ऑस्ट्रेलिया चले गए और कंपनी को वहां से ऑपरेट करने लगे। कंपनी धीरे धीरे अपना टर्नओवर बढ़ा रही थी। अभी अमित कुमार दास का सालाना टर्नओवर 500 करोड़ रुपये का है।
अमित कुमार दास ने अपनी यह स्किल को दूसरों को सिखाना चाहते थे तो इन्होंने अपने जिले अररिया में Engineering कॉलेज की नींव 2013 में Moti Babu Institute Of Technology के नाम से रख दी। आज 150 छात्र यहाँ टेक्नोलॉजी के बारे में ज्ञान प्राप्त कर रहे है।
अमित कुमार दास की यह Success Story बिहार के नौजवान युवाओं के लिए काफी प्रेरणादायक है।
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